शुक्रवार, 25 मई 2012

तेरी बातों में जीने का मज़ा आता है

तेरी बातों में जीने का मज़ा आता है
देख कर तुझको
ये शख्स मुस्कुराता है
देख ज़माने की नीयत ठीक नहीं
खुद को संभालना ऐ - हँसी
देखकर तुझको मैं तो क्या
उस खुदा का कभी ईमान डोल जाता है

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