तोहफा तुझे मैं क्या दूँ
आज है प्यार का दिन
मैं तुझे क्या दूँ
ये दिल तेरा है
ये जिस्म, ये रूह
मेरा कतरा-कतरा तेरा है
अब मैं तुझे खुदसे बढकर
और कोई नजराना क्या दूँ
लोग कहते है की तोहफों से प्यार का रिश्ता मजबूत होता है
तोहफों से ही हाल-ऐ-दिल
और दिल का एहसास बयाँ होता है
मगर जो खुद तेरा हो चूका हो
उस दिल से और कोई पैगाम क्या दू
ये तोहफे, ये दिखावे, ये चमक, ये धमक
मेरे बस की बात नहीं
मैं शायर हूँ, कोई शहनशा नहीं
जो समझ सके तो समझ ले
मेरे दिल और मेरी मोहब्बत को
अब खामोस रहकर
कैसे तुमसे और कोई बात क्या करू
तोहफा तुझे मैं क्या दूँ
आज है प्यार का दिन
मैं तुझे क्या दूँ
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